वाराणसी में आग से जली 95 साल की बुजुर्ग

वाराणसी में आग से जली 95 साल की बुजुर्ग
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वाराणसी | वाराणसी के बड़ागांव क्षेत्र में बीती रात दर्दनाक हादसा हुआ। ठंड से बचने के लिए चारपाई के नीचे अलाव जलाकर सोई वृद्धा की आग में जलकर मौत हो गई। घटना की जानकारी परिजनों को अलसुबह हुई जब वृद्धा के कमरे से दुर्गंध आने लगी। दिल दहलाने वाला मंजर जिसने भी देखा उसका कलेजा सिहर उठा। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया।

बड़ागांव थाना क्षेत्र के वाजिदपुर गांव निवासी दूजा देवी (95) नामक वृद्धा कई दिनों से बीमार थी। परिजनों के मुताबिक, उनका उपचार चल रहा था। गुरुवार शाम रिश्तेदार भी घर पर पहुंचे और उनके पास बैठकर हालचाल पूछा। रात में ठंड होने के चलते घर की महिलाएं अलाव जलाकर उनके पास बैठी थीं।

दूजा देवी जब गहरी नींद में चलीं गईं तो महिलाएं उनके पास से दूसरे कमरे में चली गईं। जबकि चारपाई के नीचे अलावा जलता रहा। रात को जब सभी लोग सो रहे थे, तभी अलाव की चिंगारी बिस्तर में छू गई, जो धीरे-धीरे भीषण आग में बदल गई। परिजनों को इसकी भनक तक नहीं लगी।
चारपाई पर बची केवल हड्डियां
जिस आग को बुजुर्ग महिला को ठंड से बचने को जलवाई गई थी, उसी आग में उनकी जलकर मौत हो गई। शरीर पूरी तरह से जल गया। सुबह चार बजे परिजनों की नींद खुली तो तेज दुर्गंध आई। वृद्धा के कमरे में गए तो पैरों तले से जमीन खिसक गई। पूरा कमरा धुएं से भरा था। किसी तरह हिम्मत कर लोग अंदर पहुंचे तो वृद्धा बुरी तरह से जली मिली। केवल हड्डियां बची थी। चारपाई का भी तीन हिस्सा पूरी तरह जल चुका था। नजारा देख परिवार के लोग चीखने चिल्लाने लगे। देखते ही देखते गांव के लोग वहां जुट गए।
सूचना पर पहुंची बड़ागांव थाने की पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया। दूजा देवी के तीनों बेटो शंकर, मास्टर और मातिवार सहित पूरे परिवार का बुरा हाल है। घटना को लेकर गांव में तरह-तरह की चर्चा चल रही है। दूजा देवी के पति बागेश्वर यादव की करीब 50 साल पहले ही मौत हो चुकी है।

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