उत्तर कोरिया ने दागी सॉलिड-फ्यूल वाली ICBM मिसाइल,जानिए क्या अब कहीं भी कर सकेगा परमाणु हमला?

उत्तर कोरिया ने दागी सॉलिड-फ्यूल वाली ICBM मिसाइल,जानिए क्या अब कहीं भी कर सकेगा परमाणु हमला?
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नई दिल्ली। दुनिया के सबसे रहस्‍यमय देशों में गिने जाने वाले उत्तर कोरिया ने नई अंतरमहाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल के टेस्‍ट का दावा किया है। उत्तर कोरियाई सरकार का कहना है कि उन्‍होंने हजारों किलोमीटर दूर तक मार करने लायक ठोस-ईंधन वाली ICBM विकसित कर ली है।

इस मिसाइल को ‘ह्वासोंग-18 अंतरमहाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल’ नाम दिया गया है। इसकी तस्‍वीरें अब अमेरिका और दक्षिणी कोरिया की मीडिया में खूब चर्चित हैं,और दुनियाभर के विश्लेषक ICBM विकसित करने के उत्‍तर कोरिया के दावे की पड़ताल कर रहे हैं। कुछ अमेरिकी विश्लेषकों का कहना है कि नया ICBM उत्तर कोरिया के लिए परमाणु हमला करना आसान बना सकता है। विश्लेषकों के मुताबिक, दिन-रात मिसाइल प्रोग्राम में जुटे उत्‍तर कोरियाई डिफेंस इंजीनियर्स के पास ICBM तैयार करने की काबलियत है,और इसलिए उनके पास लंबी दूरी तक परमाणु हमलों को अंजाम देने की क्षमता भी आ गई है।

ह्वासोंग-18 के परीक्षण से अमेरिका को चौंकाया
कोरियन सेंट्रल न्यूज एजेंसी (केसीएनए) की रिपोर्ट में बताया गया कि Hwasong-18 नामक नई मिसाइल को गुरुवार सुबह 7 बजे के बाद लॉन्च किया गया था,जो कोरियाई प्रायद्वीप के पूर्व में पानी में गिरने से पहले होक्काइडो के उत्तरी जापानी द्वीप के करीब से गुजरी। केसीएनए ने बताया कि मिसाइल टेस्‍ट के दौरान कोरियाई तानाशाह नेता किम जोंग उन और उनकी बेटी मौके पर मौजूद रहे। जहां किम ने कहा,”अब हमारा ICBM अधिक सैन्य दक्षता के एक शक्तिशाली रणनीतिक हमले के साधन के रूप में इस्‍तेमाल किया जा सकेगा।”

KCNA ने किम के हवाले से कहा कि ह्वासोंग-18 आक्रमणों को दबाने और राष्ट्र की रक्षा करने के लिए जवाबी परमाणु हमला कर सकेगी। उधर, कुछ विश्लेषकों ने भी यह माना है कि उत्तर कोरिया के पास पहले से ही परमाणु हथियार दागने की क्षमता है,हालांकि उसकी नई मिसाइल इसे और बढ़ा सकती है।

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उत्‍तर कोरियाई ICBM गेम चेंजर नहीं!
कार्नेगी एंडोमेंट फॉर इंटरनेशनल पीस के एक परमाणु नीति विशेषज्ञ अंकित पांडा ने कहा, “मुझे लगता है कि यह मिसाइल परीक्षण उसकी तकनीकी प्रगति को प्रदर्शित करता है, लेकिन मैं इसे गेम चेंजर के रूप में नहीं देखूंगा।” वहीं, दक्षिण कोरिया के रक्षा मंत्रालय ने कहा कि उत्‍तर कोरिया को अभी भी “अपने ठोस-ईंधन अंतरमहाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल प्रौद्योगिकी को सफलतापूर्वक पूरा करने के लिए और अधिक समय व प्रयास करने की जरूरत है।”

अमेरिकी मीडिया CNN की एक रिपोर्ट के अनुसार, यह उत्तर कोरिया का इस वर्ष का 12वां मिसाइल परीक्षण था, और यह अमेरिका और दक्षिण कोरिया के इस महीने की शुरुआत में हुए सबसे बड़े सैन्य अभ्यास के समापन के बाद किया गया है।

कितनी दूर तक मार कर सकते हैं ICBM?
अंतर्राष्‍ट्रीय विशेषज्ञों के अनुसार, ठोस-ईंधन वाले ICBM दुनिया के किसी भी देश पर हमला करने के लिए उपयुक्‍त होते हैं, और इनकी मारक क्षमता भी 8 हजार से 14 हजार तक हो सकती है। चीन तो 16 हजार किमी रेंज वाले ICBM विकसित करने का भी दावा कर चुका है।


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