12 लाख की हेरोइन बरामद,तीन तस्कर गिरफ्तार

12 लाख की हेरोइन बरामद,तीन तस्कर गिरफ्तार

मादक-जाली नोटों की तस्करी से मिला जुड़ाव, तीन और की तलाश जारी,
सोनभद्र । एसओजी और राबटर्सगंज कोतवाली पुलिस को मादक पदार्थों तथा नाली नोटों की तस्करी करने वाले गिरोह से जुड़े तीन अहम सदस्यों को दबोचने में कामयाबी मिली है। उनके पास से लगभग 12 लाख की 120 ग्राम हेरोइन बरामद के साथ, 22 हजार की नकदी कब्जे में ली गई है। एक 440 सीसी की रेसर बाइक भी उनके कब्जे से पाई गई है। पूछताछ के बाद आरोपियों का बृहस्पतिवार की दोपहर बाद एनडीपीएस एक्ट की धारा 8, 21, 27ए, 29, 60 के तहत चालान कर दिया गया। आरोपियों के खिलाफ जहां अच्छा-खासा आपराधिक इतिहास पाया गया है। वहीं, हिरोइन तस्करी रैकेट की बड़ी कड़ी मनीषा और उसके पिता के खिलाफ म्योरपुर पुलिस वर्ष 2022-2023 में तस्करी और गैंगस्टर की कार्रवाई कर चुकी है।

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पकड़े गए तस्कर इस तरह आए पुलिस के फंदे में
सदर कोतवाली मंे कामयाबी का खुलासा करते हुए अपर पुलिस अधीक्षक मुख्यालय कालू सिंह न बताया कि एसपी अशोक कुमार मीणा की तरफ से मादक पदार्थों की तस्करी पर कड़ी नजर रखने के निर्देश दिए गए थे। उसी कड़ी में एसओजी और थाना रॉबर्ट्सगंज की पुलिस टीम ने मिली सूचना के आधार पर बुधवार की शाम परासी शहीद उद्यान के पास से तीन तस्करों को 120 ग्राम हेरोइन (अनुमानित कीमत 12 लाख रुपये) के साथ गिरफ्तार कर लिया।

प्रयागराज से राबटर्सगंज पहुंचे थे हेरोइन खरीदने
एएसपी ने बताया कि पकड़ी गई मनीषा सिंह पुत्री जितेंद्र चंद्रवंशी (कहार) निवासी कुंडाडीह थाना म्योरपुर ने बताया है कि चंद्रकांत गौतम पुत्र शोभनाथ निवासी मुनाई और धर्मवीर उर्फ पंकज सरोज पुत्र विमला शंकर सरोज निवासी टिकेरी, थाना मांडा जिला प्रयागराज रेसर बाइक से हीरोईन खरीदने के लिए, रॉबर्ट्सगंज आए हुए थे। मनीशा 120 ग्राम हेरोईन लेकर उन्हे देने के लिए आई हुई थी। 90 ग्राम उसने उन्हें दे दिया था। शेष 30 ग्राम हेरोइन अपने पास रखकर वह निकलने वाली थी। तभी पहुंची पुलिस टीम ने तीनों को दबोच लिया।

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जेल में हुई मुलाकात में बनी थी तस्करी की चेन
पूछताछ में पुलिस को मिली जानकारी के मुताबिक धर्मवीर उर्फ पंकज की मुलाकात मनीषा के पिता जितेंद्र उर्फ मुन्ना कहार से गुरमा जेल में हुई थी। धर्मवीर उर्फ पंकज इससे पहले थाना बभनी से गांजा तस्करी के प्रकरण में जेल गया था। उसी दौरान उसकी मुलाकात जितेंद्र उर्फ मुन्ना कहार से हुई थी और जेल से बाहर आने के बाद दोनों ने हेरोइन बेचना शुरू कर दिया। राबटर्सगंज मं वह अपने मित्र चंद्रकात गौतम को हेरोइन खरीदवाने के लिए आया हुआ था।

तीनों तस्करों का है अच्छा-खासा आपराधिक इतिहास
पुलिस के मुताबिक तीनों तसकरों का अच्छा-खासा आपराधिक इतिहास है। चंद्रकांत जहां, इससे पहले बरेली से नकली नोट के मामले में, बिहार से गांजा तस्करी के प्रकरण में जेल भेजा गया था। इस वर्ष की शुरूआत में जौनपुर से हेरोइन तस्करी करते पकड़ा गया था। वहीं, धर्मवीर को वर्ष 2012 में बभनी थाने से गांजा के मामले में जेल गया था। मनीषा को उसके पिता सहित अन्य के साथ वर्ष 2022 में म्योरपुर पुलिस ने मादक पदार्थों की तस्करी के मामले में गिरफ्तार किया था। वहीं, 2023 में गैंगस्टर की कार्रवाई की गई थी। जेल से छूटने के बाद, सभी आरोपी फिर से तस्करी में सक्रिय हो गए थे।

बिहार के औरंगाबाद तक फैला है गिरोह का रैकेट
पूछताछ और प्राथमिक जांच में इस गिराह के तार बिहार के अंबडकरनगर तक से जुड़े पाए गए हैं। एएसपी ने बताया कि प्रकरण में मनीषा के पिता के साथ ही, बिहार के औरंगाबाद के रहने वाले एक तस्कर और म्योरपुर के रहने वाले एक तस्कर की तलाश जारी है। मामले के खुलासे में प्रभारी निरीक्षक सत्येंद्र राय थाना रॉबर्ट्सगंज, प्रभारी निरीक्षक राम स्वरूप वर्मा एसओजी, एसआई कमल नयन दुबे चौकी प्रभारी कस्बा रॉबर्ट्सगंज, हेड कांस्टेबल रमेश चंद्र यादव, मनीष कुमार, कांस्टेबल जय प्रकाश सरोज, सत्यम पांडेय, शैलेष महिला कांस्टेबल प्रियंका की अहम भूमिका रही।

Shiv murti

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