मंगल मूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए | शुभता, आनंद और भक्ति का मंगल भजन

मंगल मूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए | शुभता, आनंद और भक्ति का मंगल भजन

“मंगल मूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए” भजन श्री गणेश जी के आगमन का प्रतीक है। इसमें बप्पा के उस मंगलमय स्वरूप का वर्णन है जो हर घर में खुशियाँ, समृद्धि और शांति लेकर आता है। यह गीत भक्त के उस आनंद और आस्था को दर्शाता है जब वह अपने आराध्य का स्वागत करता है। इसे गाने से मन में उत्साह, श्रद्धा और पवित्रता का भाव जगता है — मानो स्वयं बप्पा हमारे द्वार पर आ पहुँचे हों।

rajeshswari

मंगल मूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए,
भक्त जनों के दिल पर देवा, दूर दूर तक छा गए,
गणपति बप्पा मोरया मंगलमूर्ति मोरया….

अब ना कोई दुखी रहेगा देवा का आशीष बरसेगा,
अंधे को आँखे मिलेंगी, लंगड़ा भी अब दौड़ पड़ेगा,
भक्ति की सच्ची लगन, सद् भक्तों को लगा गए,
मंगलमूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए…..

शिव शक्ति के लाल प्यारे, देते हैं सुख के उजियारे,
तीनों लोक में गूँज रहे हैं, सिद्धि विनायक के जयकारे,
कितनी ही डगमग नैया को बप्पा पार लगा गए,
मंगल मूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए……

इच्छा पूर्ति कहलाते हैं, कृपा अमृत बरसाते हैं,
प्रेम से सबको निहारते हैं, भाग्य सबके सँवारते हैं,
जीवन की मुरझाई बगिया, सुगंध से महका गए,
मंगलमूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए…..

अहंकार का नाश करते, भक्तों के घर वास करते,
अपने दिव्य चमत्कार से, पतझड़ को मधुमास करते,
घर आंगन में रंग बिरंगे, सुख के फूल खिला गए,
मंगल मूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए…….

पूजन व गायन की विधि

  • भजन गाने से पहले श्री गणेश जी की मूर्ति या चित्र के सामने दीपक और धूप जलाएँ।
  • लाल फूल, दूर्वा और मोदक अर्पित करें।
  • “ॐ गण गणपतये नमः” मंत्र का जप करें।
  • फिर श्रद्धा और हर्ष के साथ “मंगल मूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए” भजन गाएँ।
  • परिवार संग या भक्त मंडली में गाना और भी शुभ माना जाता है।
  • अंत में बप्पा से आशीर्वाद माँगें कि वे घर में सुख, समृद्धि और बुद्धि बनाए रखें।
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लाभ

  • मन में सकारात्मकता और आनंद का भाव बढ़ता है।
  • घर में शुभता, समृद्धि और शांति का संचार होता है।
  • बाधाएँ और रुकावटें दूर होती हैं।
  • परिवार में एकता और प्रेम का वातावरण बनता है।
  • श्री गणेश जी की कृपा से कार्यों में सफलता प्राप्त होती है।

निष्कर्ष

“मंगल मूर्ति रूप लेकर गणपति जी आ गए” भजन केवल गीत नहीं, बल्कि एक शुभ संदेश है — कि जब भी बप्पा का स्मरण होता है, वहाँ मंगल ही मंगल होता है। यह भजन हमें सिखाता है कि गणेश जी की भक्ति से जीवन में स्थिरता, सुख और विश्वास आता है। इसे श्रद्धा और आनंद के साथ गाने से घर और मन दोनों पवित्र हो जाते हैं, और बप्पा की कृपा सदा बनी रहती है।

Shiv murti

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