खालिस्तान के चक्कर में कहीं अपनी ही लुटिया ना डुबो दे ट्रडो,इकोनॉमी में भारत से कितना पीछे कनाडा?

खालिस्तान के चक्कर में कहीं अपनी ही लुटिया ना डुबो दे ट्रडो,इकोनॉमी में भारत से कितना पीछे कनाडा?
ख़बर को शेयर करे

नई दिल्ली। खालिस्तान की वजह से भारत और कनाडा के बीच तनातनी देखने को मिल रही है। कनाडाई पीएम जस्टिस ट्रडो के बीते दिनों दिए एक बयान के बाद भारत और कनाडा के संबंध बिगड़े हैं। माना जा रहा है कि दोनों देशों के बीच इस बढ़ते तनाव का असर दोनों देशों के बीच व्यापार पर भी पड़ सकता है।

भारत से पंगा लेना पड़ेगा भारी?
इकोनॉमी के मामले में भारत से काफी पीछे कनाडा

दोनों देशों के व्यापार पर पड़ सकता है असर
इस तनाव की वजह से भारत और कनाडा की इकोनॉमी पर भी असर पड़ सकता है। दोनों देशों की अगर अर्थव्यवस्था पर नजर डालें तो इस मामले में कनाडा, भारत से काफी पीछे हैं।

भारत और कनाडा की इकोनॉमी
दोनों ही देश वैसे तो दुनिया की टॉप 10 अर्थव्यवस्थाओं में शामिल हैं। IMF की वर्ल्ड इकॉनमी रैंकिंग 2023 की लिस्ट के अनुसार कनाडा 2.2 ट्रिलियन डॉलर के साथ दुनिया की नौंवी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था वाला देश है। कनाडा की प्रति व्यक्ति आय 46,260.71 डॉलर है। वहीं, भारत दुनिया की पांचवीं बड़ी अर्थव्यवस्था वाला देश है। भारत की इकोनॉमी दुनिया में सबसे तेज रफ्तार से आगे बढ़ रही है। भारत सरकार का लक्ष्य अगले कुछ सालों में देश को तीसरे पायदान पर लाने का है।

दोनों देशों के बीच आयात-निर्यात
दोनों देशों के बीच आयात-निर्यात की बात की जाए तो यह लगभग बराबर है। वित्त वर्ष 2021-22 में भारत और कनाडा के बीच 7 अरब डॉलर का व्यापार हुआ था। वहीं इस साल की बात की जाए तो 6 महीने में दोनों देशों के बीच 8.16 अरब डॉलर का व्यापार हुआ।

इसे भी पढ़े   अग्निपथ पर बोले मनीष तिवारी;सशस्त्र बल रोजगार गारंटी कार्यक्रम नहीं हो सकते'

भारत, कनाडा को फार्मास्यूटिक्स, आयरन प्रोडक्ट्स, टेलीकॉम कंपोनेंट, गार्मेंट्स, मरीन प्रोडक्ट्स, ऑटो पार्ट्स और स्टील जैसी कई चीजें का एक्सपोर्ट करता है। वहीं वह कनाडा से कोयला, फर्टिलाइजर, दालें जैसी चीजें खरीदता है। दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ता है, तो इन सामानों के लिए अन्य देशों का रूख कर सकता है।

कनाडा पेंशन फंड का भारतीय कंपनियों में निवेश
कनाडा की सबसे बड़ी पेंशन फंड CPPIB ने कई भारतीय कंपनियों में भारी भरकम निवेश कर रखा है। जानकारी के अनुसार यह निवेश 1.77 लाख करोड़ है। कनेडियन पेंशन प्लान इन्वेस्टमेंट बोर्ड ने जिन कंपनियों में निवेश किया, उसमें कोटक महिंद्रा, पेटीएम, जोमैटो, ICICI शामिल है। ऐसे में भारत और कनाडा के संबंध बिगड़ते है, तो कनाडा पेंशन फंड का निवेश प्रभावित हो सकता है।


ख़बर को शेयर करे

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *