पति से बढ़कर था क्लासमेट,पत्नी ने प्रेमी के साथ मिलकर रची साजिश,बिहार में चौंकाने वाला खुलासा
औरंगाबाद। प्रेमी के लिए एक पत्नी ने अपने पति की हत्या कर दी। आशिक के साथ मिलकर उसने इस घटना को अंजाम दिया था। इस पूरे कांड से बीते शनिवार (21 अक्टूबर) को पर्दा उठ गया। औरंगाबाद के मुफस्सिल थाना क्षेत्र के पोईवां गांव निवासी 42 वर्षीय गौतम सिंह की हत्याकांड का खुलासा करते हुए पुलिस ने पत्नी दिव्या सिंह और उसके प्रेमी झारखंड के गिरिडीह निवासी ललित साव के पुत्र कृष्णा प्रसाद को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया।
28 सितंबर को हुआ था गौतम कुमार सिंह का अपहरण
मुफस्सिल थाना क्षेत्र के पोईवां गांव निवासी उपेंद्र सिंह के पुत्र गौतम कुमार सिंह पूर्व में किसी निजी कंपनी में बड़े पदाधिकारी के पद पर कार्यरत थे। उनके पिता भी झारखंड के खलारी में एक अधिकारी थे। कोरोना काल के दौरान गौतम अपनी नौकरी छोड़कर गांव आ गए थे और शहर के मिशन स्कूल रोड में किराए के मकान पर रहते थे। बिजौली रोड स्थित एक निजी विद्यालय में बच्चों को पढ़ाने के लिए भेजते थे। 28 सितंबर को उस वक्त उनका अपहरण कर लिया गया जब वह अपने आवास से गांव जा रहे थे।
पूर्व राज्यपाल के रिश्तेदार के अपहरण से मची थी सनसनी
बताया जाता है कि गौतम कुमार सिंह पूर्व राज्यपाल और औरंगाबाद के पूर्व सांसद निखिल कुमार के रिश्तेदार थे। अपहरण के बाद पूरे शहर में सनसनी फैल गई कि पूर्व राज्यपाल के रिश्तेदार का अपहरण भी हो सकता है। घटना के बाद मुफस्सिल थाने में गौतम सिंह की पत्नी ने ही अपने पति की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी।
घटना को लेकर पुलिस जांच में जुटी ही थी कि 29 सितंबर को यह सूचना प्राप्त हुई कि आमस प्रखंड कार्यालय के समीप झुरमुट में किसी व्यक्ति का शव बरामद किया गया है। पुलिस ने शक के आधार पर शख्स की पत्नी की गोपनीय तहकीकात की और मामले की तह तक पहुंच गई।
क्लासमेट से पिछले कई साल से था संबंध
अपर थानाध्यक्ष प्रणव कुमार ने बताया कि गौतम की पत्नी का अपने क्लासमेट के साथ पिछले कई वर्षों से प्रेम प्रसंग चल रहा था। दोनों के संबंध की जानकारी होने पर गौतम कुमार सिंह बाधा बन रहा था। पुलिस ने पत्नी के मोबाइल का सीडीआर निकाला। पिछले छह महीने तक के कॉल डिटेल्स से यह जानकारी मिली कि गौतम की पत्नी लगातार अपने प्रेमी के संपर्क में थी। पूरे मामले की तहकीकात के बाद पुलिस ने प्रेमी-प्रेमिका को तीन दिनों तक अपनी कस्टडी में रखा। इसके बाद पूरा मामला परत दर परत खुलता चला गया।