ऐप से बदली आवाज फिर सात छात्राओं से रेप,एक्शन में मोहन सरकार
नई दिल्ली। जिले से एक सनसनीखेज मामला सामने आया है। जहां आवाज चेंज करने वाले मैजिक वॉइस ऐप्स के जरिए गवर्नमेंट कॉलेज में पढ़ने वाली गर्ल्स को स्कॉलरशिप के नाम पर आरोपी झांसा देकर आरोपियों ने बलात्कार की घटना को अंजाम देते थे। इस मामले में मुख्य आरोपी बृजेश प्रजापति के सहित 4 को पुलिस ने गिरफ्तार किया गया है। मुख्य आरोपी बृजेश प्रजापति पेशे से मजदूर है उसने यूट्यूब से आवाज बदलने वाले ऐप्स की मदद से मोबाइल में एक्टिवेट करके छात्राओं को निशाना बनाता था।
दरअसल, मुख्य आरोपी और उसके दोस्तों ने सीधी के गवर्नमेंट कालेज वॉट्सएप ग्रुप से नंबर निकालते थे। इसके बाद आरोपी इस मैजिक ऐप के जरिए रंजना मैंम बनकर महिला की आवाज में पीड़ित छात्राओं से बात करते थे। उनसे स्कॉलशिप के लिए आवश्यक डॉक्यूमेंट देने के लिए किसी सुनसान जगह में बुलाते थे। किसी को इस बात की भनक न लगे इसके लिए वह निश्चित स्थान पर लेने के लिए एक युवक को बाइक से भेजते थे। और वहां से लाने के बाद इस तरह घटना को अंजाम देते थे।
7 लड़कियों के साथ किया रेप
पुलिस के मुताबिक ये आरोपी अभी तक 7 छात्राओं को अपना शिकार बन चुके हैं। यह संख्या और भी बढ़ सकती है। वहीं, मामला सामने आने के बाद कांग्रेस भी हमलावर हो गई है। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सोशल मीडिया ने शेयर करते हुए प्रदेश सीएम डॉ मोहन यादव को निशाना बनाते हुए पुलिस व्यवस्था पर सवाल उठाए हैं। अभी दो आरोपी फरार बताए जा रहे हैं।
ये आरोपी आए पकड़ में
मामले की गंभीरता को समझते हुए पुलिस ने एक्शन लेते हुए मुख्य आरोपी को पहले ही पकड़ लिया था। इसके साथ ही बाकियों की तलाश करते हुए 3 अन्य आरोपियों को भी गिरफ्तार किया है। इनकी पहचान मुख्य आरोपी बृजेश प्रजापति पिता ददुल्ला प्रजापति (30 साल) निवासी अमरवाह,संदीप पिता वंशगोपाल प्रजापति (21 साल) निवासी मड़वास थाना मझौली, राहुल पिता वंशगोपाल प्रजापति (24 साल) और लवकुश प्रजापति पिता मंगल प्रसाद प्रजापति उम्र 23 वर्ष निवासी मड़वास को पकड़ा है। ये सभी मिलकर लड़कियों को अपना शिकार बनाते थे।
एसआईटी जांच के आदेश
मामला सामने आने के के बाद प्रदेश मुखिया मोहन यादव ने पुलिस प्रशासन को निर्देश दिए है। सीएम ने सीधी में अनुसूचित जनजाति की छात्राओं के साथ हुई घटना की जांच एसआईटी से कराने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही महिला डीएसपी को एसआईटी की कमान सौपी गई हैं। इसके साथ ही 9 सदस्यीय एसआईटी मामले की पूरी जांच करेगी। टीम पॉक्सो एक्ट के तहत कार्रवाई करेगी। इसके साथ ही 7-7 दिन में मामले की रिपोर्ट देनी होगी।