अमेरिका ने पाकिस्तान को एफ-16 लड़ाकू विमान के रख-रखाव के लिए 45 करोड़ डॉलर की सहायता को दी मंजूरी
वाशिंगटन। पाकिस्तान के प्रति अमेरिका का लगाव अभी कम नहीं हुआ है। शायद यही वजह है कि अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फैसले को पलटते हुए पाकिस्तान को एफ-16 लड़ाकू विमान के बेड़े के रखरखाव के लिए 45 करोड़ डालर की सहायता को मंजूरी दे दी है। कंगाली की कगार पर पहुंच चुके पाकिस्तान के लिए ये राशि किसी बड़ी राहत से कम नहीं है।
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने पाकिस्तान के आतंकवाद के खिलाफ जारी अभियान को ढोंग करार दिया था। साथ ही कहा था कि पाकिस्तान अतंकवादियों की सुरक्षित पनाहगाह बना हुआ है। ऐसे में पाकिस्तान को इतनी बड़ी सहायता राशि आतंकवाद रोधी खतरों से निपटने के लिए देने का कोई औचित्य समझ से परे है। बताया जा रहा है कि पाकिस्तान को यह वित्तीय मदद इसलिए दी जा रही है, ताकि वो वर्तमान और भविष्य में आतंकवाद रोधी खतरों को मजबूती से सामना कर सके।
बता दें कि पिछले चार वर्षों में पाकिस्तान को दी जा रही यह सबसे बड़ी सुरक्षा सहायता है। ट्रंप प्रशासन ने 2018 में आतंकवादी सगठनों अफगान तालिबान तथा हक्कानी नेटवर्क पर कार्रवाई करने में नाकाम रहने पर उसे दी जाने वाली करीब दो अरब डालर की वित्तीय सहायता निलंबित कर दी थी। वित्तीय सहायता रोकने के निर्णय के बारे में डोनाल्ड ट्रंप ने ट्वीट भी किया था, जिससे पाकिस्तान की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर काफी किरकिरी भी हुई थी।
अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने बताया कि उन्होंने पाकिस्तान को एफ-16 लड़ाकू विमानों के रखरखाव के लिए संभावित विदेश सैन्य बिक्री (एफएमएस) को मंजूरी देने का फैसला लिया है। अमेरिकी सरकार ने कांग्रेस को प्रस्तावित विदेशी सैन्य बिक्री की सूचना दी है ताकि पाकिस्तान की वायु सेना के एफ-16 कार्यक्रम को बनाए रखा जा सके। पाकिस्तान एक महत्वपूर्ण आतंकवादी रोधी सहयोगी है।