जब सब खत्म हो गया तब प्रियंका ने किया 1 फोन और बन गई दो लड़कों की जोड़ी

जब सब खत्म हो गया तब प्रियंका ने किया 1 फोन और बन गई दो लड़कों की जोड़ी
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नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव जीतने की पुरजोर कोशिश कर रही कांग्रेस के लिए बहुत दिनों बाद राहत की खबर आई है। सबसे जरूरी राज्य उत्तर प्रदेश में कांग्रेस और समाजवादी पार्टी के बीच सीटों पर बटवारा हो चुका है। दोनों पार्टियों में कुछ सीटों को पेच फंसा था। बिगड़ती बात को कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने संभाला। प्रियंका के एक फोन कॉल से यूपी में दो लड़कों यानी अखिलेश-राहुल की सियासी जोड़ी बन गई।

प्रियंका के फोन कॉल से बन गई बात
कुछ दिन पहले तक सीटो को सलेकर कांग्रेस अपनी मांग पर अड़ी थी और समाजवादी पार्टी उसकी (कांग्रेस) बात मानने को तैयार नहीं थी। कांग्रेस-सपा में लोकसभा चुनाव में गठबंधन को लेकर जारी गतिरोध तब खत्म हुआ जब प्रियंका गांधी ने अखिलेश यादव को फोन किया और सीटों को लेकर चर्चा की। इस बातचीत में तय हुआ कि दोनों पार्टियां बीच का रास्ता अपनाएंगी। कुछ सीटों से कांग्रेस पीछे हटेगी तो कुछ सीटों पर सपा अपने उम्मीदवार न उतार कांग्रेस को मौका देगी।

प्रियंका गांधी ने अखिलेश से बात की और दोनों पार्टियों के बीच लोकसभा चुनाव के लिए सहमति बन गई। सीटों के बटवारे के बाद अखिलेश यादव से जब सवाल किया गया तो उन्होंने कहा।। अंत भला तो सब भला। उन्होंने कहा कि यूपी में सीट बंटवारे को लेकर सपा और कांग्रेस में कोई विवाद नहीं है। कांग्रेस के साथ गठबंधन के सवाल पर अखिलेश ने कहा, ‘होगा।’

सपा ने कांग्रेस को दीं ये सीटें
बता दें कि कांग्रेस और सपा में सीटों की संख्या को लेकर विवाद नहीं था। विवाद इस बात का था कि कांग्रेस कुछ ऐसी सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती थी, जिनपर सपा भी दावेदारी कर रही थी। आज मसला तब हुआ जब सपा कुछ ऐसी सीट देने पर सहमत हो गई, जिसपर कांग्रेस अपने उम्मीदवार उतारना चाहती थी। सपा ने वाराणसी, कानपुर, सीतापुर, अमरोहा, झांसी, फतेहपुर सीकरी और कुछ अन्य सीट कांग्रेस को देने पर सहमति जताई है।

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बन गई बात
पूर्वांचल की बलिया लोकसभा सीट को लेकर अभी तक दोनों पार्टियों का रुख स्पष्ट नहीं हुआ है। कांग्रेस बलिया से उत्तर प्रदेश अध्यक्ष अजय राय को मैदान में उतारना चाहती है। बता दें कि अखिलेश यादव रायबरेली में राहुल गांधी के साथ भारत जोड़ो न्‍याय यात्रा में जुड़ने वाले थे, लेकिन उन्होंने अपना मन बदल लिया था और रायबरेली नहीं पहुंचे। बाद में सपा ने कहा था कि अखिलेश कांग्रेस की यात्रा का तभी हिस्सा बनेंगे जब पार्टी (कांग्रेस) सीटों की पेशकश मान जाएगी। इसके बाद यह कहा जा रहा था का कि दोनों पार्टियों का गठबंधन नहीं हो सकेगा। लेकिन दोनों पार्टियों की बिगड़ती बात प्रियंका की अखिलेश को कॉल के बाद पटरी पर आई और अंत में कांग्रेस और सपा एक-दूसरे की बातों पर राजी हो गए।


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