19 साल बाद सावन में बन रहा है ये दुर्लभ संयोग,जमकर बरसेगी भोलेनाथ की कृपा

19 साल बाद सावन में बन रहा है ये दुर्लभ संयोग,जमकर बरसेगी भोलेनाथ की कृपा
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नई दिल्ली। हिंदू धर्म में सावन के महीने का बहुत बड़ा महत्व है। यह मास भगवान शिव को समर्पित है। इस महीने भोलेनाथ की पूरी श्रद्धा से पूजा-अर्चना की जाती है। ऐसा माना जाता है कि सावन का महीना भगवान भोलेनाथ को सबसे प्रिय है। शिव पुराण के अनुसार शंकर भगवान सावन माह में सोमवार का व्रत करने वाले भक्तों की सारी मनोकामनाएं पूरी करते हैं। सावन के महीने का शिव भक्तों को हमेशा इंतजार रहता है। इस बार का सावन बेहद खास रहने वाला है।

2 महीने का होगा सावन का महीना
इस बार सावन का महीना 2 महीने का होने वाला है। ज्योतिषाचार्य डॉक्टर अनीष व्यास ने बताया कि सावन माह 4 जुलाई से आरंभ होकर 31 अगस्त तक रहेगा। सावन के महीने में 59 दिन रहेंगे। 18 जुलाई से लेकर 16 अगस्त तक सावन अधिकमास रहेगा। इस बार 18 जुलाई से 16 अगस्त तक मलमास रहेगा। श्रावण मास के दौरान अधिकमास पड़ रहा है, इसलिए उस दौरान पूजा-अर्चना करने से भगवान हरि के साथ ही भोलेनाथ की भी जमकर कृपा बरसेगी।

क्या होता है अधिकमास?
दरअसल वैदिक पंचांग की गणना सौरमास और चंद्रमास के आधार पर होती है। एक चंद्रमास 354 दिनों का होता है वहीं एक सौरमास 365 दिनों का होता है। इस तरह से इन दोनों में 11 दिन का अंतर आ जाता है। लिहाजा 3 साल में यह अंतर 33 दिन का हो जाता है। इस तरह हर तीसरे वर्ष में 33 दिनों का अतिरिक्त एक माह बन जाता है। इन 33 दिनों के समायोजन को ही अधिकमास कहा जाता है।

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19 साल बाद बना संयोग
साल 2023 में अधिकमास के दिनों का समायोजन सावन के माह में हो रहा है। इस कारण से सावन एक की बजाय दो महीने का होगा और सावन में आठ सोमवार पड़ेंगे। इस बार नए वर्ष 2023 में हिंदू कैलेंडर का 13वां महीना मिलेगा,जिसमें अधिकमास शामिल होगा। विक्रम संवत 2080 में पड़ने वाले अधिकमास के कारण सावन दो महीने का होगा। जो 59 दिन तक रहेगा। खास बात यह है कि यह संयोग 19 साल बाद बन रहा है। हर तीन साल पर एक अतिरिक्त मास होता है,जिसे अधिकमास या मलमास कहलाता है। इसे पुरुषोत्तम मास भी कहा जाता है।

ज्योतिषाचार्य व्यास ने बताया कि वैदिक पंचांग की गणना में जिस महीने इन 33 दिनों का समायोजन होता है,उस माह में इनकी संख्या औसतन डबल हो जाती है। इस बार वर्ष 2023 में अधिकमास के दिनों का समायोजन भगवान शिव के प्रिय माह सावन में होगा। सावन का महीना 30 नहीं 59 दिन का होगा। सावन के महीने में 8 सावन सोमवार व्रत आएंगे। ये शुभ संयोग 19 वर्षों के बाद बना है। साल 2023 में लगभग सभी व्रत और त्योहार 15 से 20 दिनों के लिए आगे बढ़ गए हैं।

बहेगी शिव भक्ति की बयार
ज्योतिषाचार्य व्यास ने बताया कि इस बार सावन का महीना तकरीबन दो माह का होगा। यानि हर सावन में चार या पांच सोमवार ही पड़ते थे और शिवभक्त भगवान भोले की पूजा अर्चना करते थे। लेकिन इस बार सावन में आठ सोमवार पड़ेंगे। इसलिए इस बार दो महीने तक शिव भक्ति की बयार बहती रहेगी। इस दौरान शिव जी का अभिषेक, रुद्राभिषेक, जलाभिषेक, गंगा जल से अभिषेक किया जाएगा. साथ ही भक्त गंगा से कावंड भरकर भी लाएंगे और शिवजी को गंगा जल अर्पित करेंगे।

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सावन सोमवार की तिथियां
सावन का पहला सोमवार: 10 जुलाई
सावन का दूसरा सोमवार: 17 जुलाई
सावन का तीसरा सोमवार: 24 जुलाई
सावन का चौथा सोमवार: 31 जुलाई
सावन का पांचवा सोमवार: 07 अगस्त
सावन का छठा सोमवार:14 अगस्त
सावन का सातवां सोमवार: 21 अगस्त
सावन का आठवां सोमवार: 28 अगस्त


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