खादी केवल नेताओं का ड्रेस कोड क्यों? PM मोदी ने सुनाया 2 अक्टूबर को पोरबंदर में फैशन शो का किस्सा
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज कहा कि हमारी खादी में दुनिया में जाने की क्षमता है लेकिन इसे आजादी का आंदोलन और नेताओं के चुनाव के ड्रेस कोड तक सीमित कर दिया गया। इसके बाद पीएम ने 2003 का एक किस्सा सुनाया। उन्होंने कहा कि मुझे याद है मैंने एक बहुत बड़ा ‘पराक्रम’ किया था। पोरबंदर में 2 अक्टूबर को मैंने फैशन शो किया। कुछ सेकेंड रुकने बाद वह बोले कि हमारे देश में आज भी कहीं फैशन शो करो तो 4-6 लोग झंडा लेकर विरोध करने आ जाते हैं। उस समय क्या हाल रहा होगा,आप कल्पना कर सकते हैं।
पीएम ने कहा था
पीएम ने बताया कि मैंने गुजरात के इंस्टिट्यूट के लड़कों से कहा था कि खादी जो नेताओं का कपड़ा है न,उसमें से उसे बाहर निकालना है। इसे सामान्य जनता का कपड़ा बनाना है। ऐसा बदलाव लाना है। थोड़ी मेहनत की। गांधीवादी लोगों को भी बुलाया। वैष्णव जन तो तेने कहिए।।। वो गीत चलता रहा था और ऊपर फैशन शो चला।
मोदी ने कहा कि सारे यंग बच्चे आधुनिक खादी के वस्त्र पहनकर आए थे। मुझे लोगों ने कहा कि हमने तो ऐसा सोचा ही नहीं था। यही सच्चा रास्ता है। नए-नए प्रयोगों का परिणाम है कि खादी आज कहां पहुंच गया है। पीएम ने आगे कहा कि हालांकि अभी तक खादी ग्लोबल नहीं बना है। अभी तो हमारे देश में ही गाड़ी चल रही है।
पीएम आज भारत मंडपम में कपड़ा उद्योग के एक कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। Bharat Tex 2024 का उद्घाटन करने के बाद उन्होंने कपड़ा क्षेत्र से जुड़े लोगों को नए आइडिया पर काम करने, दुनिया की जरूरत और मांग को समझने के साथ ही भारत के बाहर के मार्केट को कवर करने के लिए प्रोत्साहित किया।