पाक नागरिक की मौत के बाद मुख्तार ने हथियाई थी करोड़ों की जमीन,खड़ा कर लिया अरबों का कारोबार

पाक नागरिक की मौत के बाद मुख्तार ने हथियाई थी करोड़ों की जमीन,खड़ा कर लिया अरबों का कारोबार
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कानपुर। कानपुर में परेड स्थित बशीर इस्टेट के नाम से चर्चित पाक नागरिक शाहिद हलीम की संपत्ति मुख्तार बाबा ने फर्जी कागजातों की मदद से अपनी पत्नी के नाम करा ली थी। इसी संपत्ति पर 1.60 करोड़ का लोन लेकर मुख्तार बाबा ने पूरे देश अरबों का अपना साम्राज्य खड़ा कर दिया। यह खुलासा बुधवार को तब हुआ, जब शत्रु संपत्तियों और मुख्तार बाबा की अवैध संपत्तियों की जांच चल रही थी।

बंटवारे के समय शाहिद हलीम के पाकिस्तान जाने के बाद 2007 में कराची में उनकी मौत हो गई थी। इसके बाद मुख्तार बाबा ने बशीर इस्टेट की जमीन को फर्जी तरीके से अपनी पत्नी हिबा के नाम करा लिया। फिर इसी जमीन को बेटियों के नाम कराया गया। इतना ही नहीं बशीर इस्टेट की इसी जमीन पर फर्जी कागजों से किदवईनगर की एक बैंक से 1.60 लाख का लोन भी लिया।

जांच में यह भी पता चला है कि बशीर इस्टेट और इसी तरह मुख्तार की अवैध तरीके से बनाई गई बाकी संपत्तियों के संबंध में ईडी ने भी जानकारी मांगी है। बताया जा रहा है कि ईडी के निशाने पर मुख्तार बाबा की अवैध संपत्तियों के साथ किदवईनगर के बैंक के अधिकारी भी निशाने पर हैं, जिससे बाबा ने अवैध कागजात के जरिये इतना बड़ा लोन लिया था।
यह भी पता चला है कि मुख्तार बाबा ने आसपास के दूसरे शहरों और प्रदेशों में की भी शत्रु संपत्तियों को फर्जी कागजात से अपने नाम करा ली है। ईडी को यह भी जानकारी मिली है कि मुख्तार बाबा के पास 300 करोड़ से अधिक की संपत्तियां हैं, जो उसने शत्रु संपत्तियों से खेल करके बनाई है।
मुख्तार बाबा सहित 30 लोगों के कब्जे वाली संपत्तियां घोषित होंगी शत्रु संपत्ति

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नई सड़क बवाल के मामले में आरोपी मुख्तार बाबा सहित 30 लोगों के कब्जे वाली राम जानकी मंदिर ट्रस्ट, दारुल मौला और बशीर स्टेट की तीन संपत्तियां भी शत्रु संपत्ति घोषित होंगी। इसे घोषित करने की सिर्फ औपचारिकता बाकी है। जिला प्रशासन की तरफ से 15 जुलाई को इसे पूरी तरह से शत्रु संपत्ति के रूप में घोषित कर दिया जाएगा।
इन संपत्तियों पर काबिज सभी लोगों को अपना जवाब देने के लिए जिलाधिकारी की तरफ से कई बार नोटिस भी जारी किया जा चुका है, लेकिन दो लोगों के अलावा अभी तक कोई भी सामने नहीं आया है। बुधवार को जवाब देने का आखिरी दिन था लेकिन कोई नहीं पहुंचा। अब प्रशासन ने दो दिन की मोहलत और देते हुए 15 तक जवाब देने को कहा है, यह भी कहा कि यदि कोई नहीं आता है तो इन संपत्तियों को शत्रु संपत्ति घोषित करने का फैसला सुना दिया जाएगा। जिस तरह की स्थितियां हैं, उससे साफ है कि किसी के पास कोई तथ्यात्मक जवाब नहीं है। यहां रहने वाले लोगों में से सिर्फ मुख्तार बाबा व एक अन्य ने अभी तक अपना जवाब दाखिल किया है।

प्रशासन की तरफ से बेकनगंज डॉ. बेरी चौराहा स्थित राम जानकी मंदिर ट्रस्ट की जमीन पर खोला गया बाबा बिरयानी रेस्टोरेंट, नाला रोड स्थित दारुल मौला और हीरामनका पुरवा स्थित बशीर स्टेट को शत्रु संपत्ति के रूप में चिह्नित किया गया था। इन संपत्तियों को शत्रु संपत्ति घोषित करने से पहले यहां रहने वाले लोगों को अपनी बात कहने का अवसर दिया जा रहा है। इसके लिए पिछले एक महीने में पांच बार सुनवाई रखी गई। 30 लोगों में 15 ने प्रार्थना पत्र देकर जवाब देने के लिए एक माह का समय मांगा था। जबकि बाकी 15 लोगों ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है।
15 लोगों को नोटिस देकर अपना पक्ष रखने का अवसर दिया गया था इसके लिए कलक्ट्रेट में जनसुनवाई की गई। हालांकि किसी ने अपना पक्ष नहीं रखा है। गुरुवार को होने वाली जनसुनवाई में कोई नहीं आया तो मान लिया जाएगा किसी को कुछ नहीं कहना है। उसके बाद आगे की कार्रवाई होगी।

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